1 जिला मुख्यालय मे रविवार को जिला आपदा प्रबधंन समितिकी बैठक मे कोरोना संक्रमण को लेकर किए जा रहे व्यवस्था पर जनप्रतिनिधियो के सुझाव लिए गए। इस दौरान पहली बार बैठक में शामिल हुए सांसद ढालसिंह बिसेन ने समिति की बैठक के नियमो को लेकर कलेक्टर दीपक आर्य को आड़े हाथो लिया। प्रबधंन समिति की बैठक समाप्त हो पाती इससे पहले अपनी नाराजगी जाहिर करते हुए सांसद बिसेन ने कलेक्टर से पूछा कि क्या जिले का सांसद आपदा प्रबधंन समिति का सदस्य होता है या नही ...यदि मै नियमानुसार इस समिति का सदस्य हूं तो इससे पहले हुई बैठको की जानकारी मुझे क्येां नही दी गई और उन बैठको मे मुझे क्यों नही आमंत्रित किया गया। आपको मालूम है कि मै बरघाट मे रहता हूं क्या मुझे समय रहते सूचना दिया जाना चाहिए या नही...सांसद यहीं नही रूके उन्होन साफ तौर पर कहा कि यदि इस बैठक मेें मुझे नही बुलाना चाहते तो स्पष्ट कर दे आप अपने तरीके से काम करें हम अपने तरीके से काम करेंगे कोरोना से अनाथ हुए बच्चो को सरकार देंगी 5 हजार रूपए पेंशन कटंगी तहसील के बोनकट्टा मेें किरनापुरे परिवार पर टूटा था कोरोना का कहर 2 कोरोना में कमाई करने वाले मुखिया की मौत होने के बाद जिदंगी में बेसहारा और अनाथ हुए बच्चो के लिए शुरू की गई पेंशन योजना को लेकर सरकार एक्शन मोड मे आ गई है। मुख्यमंत्री शिवराज सिंह चौहान इस मामले को लेकर गंभीर नजर आ रहे है। एैसे हादसो का शिकार हुए बच्चो और उनकी माता या परिजनो को तत्काल राहत देने की तैयारी की गई है। मुख्यमंत्री शिवराज सिंह चौहान स्वंय संवेदनशीलता दिखाते हुृए प्रशासन से एैसे बच्चो की सूची मंगाने के साथ सभी विधायको से संपर्क कर जानकारी मांग रहे है। सीएम ने विधायको से कहा है कि वे अपने विधानसभा क्षेत्र मे एैसे परिवारो का सर्वे कराकर जल्द सूची भिजवांए ताकि परिवारो को राहत दी जा सके। इस दौरान कटंगी तहसील के बोनकट्टा मेें किरनापुरे परिवार के अनाथ बच्चों को भी इस योजना का लाभ मिल पाएगा 3 लांजी विधायक ने वेक्सीनेशन पर दागे सवाल, इंजेक्शन की कमी को कलेक्टर ने स्वीकारा जिला आपदा प्रबंध समिति की बैठक में कलेक्टर दीपक आर्य ने यह स्वीकार किया कि जिले में रेमेडिसिविर इंजेक्शन काफी कम मात्रा मे उपलब्ध कराए जा रहे है। जिसके चलते सभी मरीजो को इंजेक्शन देने मे असुविधा हो रही है। दरअसल बैठक में लांजी विधायक हिना कावरे ने रेमेडिसिविर इंजेक्शन के वितरण प्रणाली पर प्रश्न चिंह लगाते हुए यह मांग की थी कि जिस प्रकार जिला चिकित्सायल में रेमेडिसिविर उपलब्ध कराई जा रही है उसी प्रकार जिले के सभी सिविल अस्पतालों में रेमेडिसिवर इंजेक्शन उपलब्ध कराया जाए। उनका कहना था कि जब एैसे अस्पतालों मे भर्ती कोरोना के मरीजो को इंजेक्शन की आवश्यकता होती है तो उनके परिजन यहां वहां भटकते है और मजबूरीवश ब्लेक में इंजेक्शन खरीदने को मजबूर होते है। जिस तरह से जिला चिकित्सालय मे रेमेडिसिविर इंजेक्शन उपलब्ध कराया जा रहा है। वैसा ही सिविल अस्पतालों मे उपलब्ध कराया जाए। इस पर कलेक्टर का कहना था कि रेमेडिसिविर इंजेक्शन बालाघाट को कम संख्या मे मिल रहे है 4 जिले में कोरोना संक्रमण की स्थिति एवं इसे फैलने से रोकने के लिए कलेक्ट्रेट सभाकक्ष में जिला आपदा प्रबंधन समूह की बैठक हुई जिसमें क्राइसिस मेनेजमेंट समिती ने निर्णय लिया कि बालाघाट जिले में जनता कफ्र्यू आगामी 31 मई तक प्रभावी रहेगा। बैठक में बताया कि कोरोना की दूसरी लहर पहले की तुलना में अधिक खतरनाक रही है। कोरोना वायरस हर बार अपना स्वरूप बदल रहा है और अब इसका न्या म्यूटेंट आ गया है जिसे तिसरी लहर कहा जा रहा है। आयुष मंत्री कावरे ने बैठक में कहा कि कोरोना संक्रमण को रोकने के लिए जिले में लागू कोरोना कफ्र्यू का कड़ाई से पालन करने में प्रशासन को समाज के सभी वर्गों का सहयोग मिला है। अब हमें कोरोना की तिसरी लहर को रोकने के लिए तैयारी करने की जरूरत है। 5 समर्थन मूल्य पर किसानों से क्रय किए गए धान को विपणन संघ के द्वारा विभिन्न गोदामों और केपो में भंडारित कर रखा गया है। जहां संपूर्ण जिले में करीब ४२ लाख क्विंटल धान खरीदी गई थी जिसका कस्टम मिलिंग जनवरी से शुरू कर दिया जाना था। किंतु शासन की कस्टम मिलिंग नीति के कारण राइस मिलर्स संघ के द्वारा शासन से कुछ शर्तों की मांग की गई थीए परंतु शासन द्वारा मिलर्स की शर्तों को अनदेखी कर दिया गयाए जिसके चलते मिलिंग का कार्य समय पर शुरू नहीं हुआ। नतीजा यह हुआ कि वर्तमान हालात में सहकारी समितियों की दुकानों में चांवल का टोटा कम पड़ गया और करीब डेढ से दो माह बीते सोसाइटीयों से हितग्राहियों को चावल नहीं मिल पा रहा है।