सीहोर जिले के जावर तहसील में सरकार हर साल वृक्षारोपण कार्यक्रम का आयोजन करती है जिसमें लाखो करोड़ों पौधे लगाए जाते है। उन पौधों को जिंदा रखने के लिए भी करोड़ों रुपए खर्च किए जाते है। लेकिन अगर कोई किसान पेड़ काटकर अपने कृषि यन्त्र या मकान बनाता है तो कई नियमो का हवाला देकर प्रशासन उस पर कार्यवाही कर देता है । लेकिन उसी क्रम में जावर क्षेत्र के टिगरिया जोड़ से अरनिया गाजी तक बिजली विभाग के कर्मचारियों ने सैकड़ो हरे भरे वृक्ष को काट दिये है। अगर बिजली विभाग को मेंटनस ही करना है तो तो पेड़ बिजली के तारों के नीचे आ रहे है उनकी शाखाओं को काटा जाए ,लेकिन नासमझ कर्मचारी ने सैकड़ों पेड़ो पर आरी चलाकर काट डाला । क्या प्रशासन अब उक्त कर्मचारी पर कार्यवाही करेगा या यह सिलसिला यूहीं चलता रहेगा । जबकि सरकार का नियम है कि अगर एक पेड़ काटा जाए तो उसके बदले 10 पेड़ लगाए जाएं। देखना यह है की जिला प्रशासन क्या कार्यवाही करता है।